पराली के धुएं से कोरोना वायरस का असर और
घातक हो सकता है- जिलाधिकारी
पराली जलाने वालों के विरूद्ध दण्ड़ात्मक कार्रवाही होगी- अखिलेश सिंह
सहारनपुर, दिनांक 07 अक्टूबर, 2020
जिलाधिकारी श्री अखिलेश सिंह ने किसानों का आह्वान किया कि वे पराली/गन्ने की पाती न जलायें। उन्होंने कहा कि कृषि एवं पर्यावरण विशेषज्ञ का कहना है कि पराली जलाने से पैदा हुआ धुआं लोगों के श्वसन तंत्र को नुकसान पहुंचाता है। कृषि विशेषज्ञों का मानना है कि धुएं से कोरोना वायरस का असर और घातक हो सकता है। उन्हांेने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे अपने-अपने क्षेत्रों में यह सुनिश्चित करें कि कहीं भी गन्ने की पाती व धान की पराली जलने न पायें। उन्होंने कहा कि जहां भी ऐसी घटना हो तत्काल सम्बधिंत के विरूद्ध नियमानुसार दण्ड़ात्मक कार्रवाही की जाएं।
श्री अखिलेश सिंह आज यहां कलेक्ट्रेट सभागार में गन्ना पाती व धान की पराली के प्रबन्धन के संबंध में कार्यों की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि पराली जलाने के वैकल्पिक प्रबंध नहीं किए गए तो प्रदूषणकारी तत्व, कार्बन मोनोऑक्साइड और मीथेन जैसी जहरीले गैसों के कारण श्वसन संबंधी गंभीर समस्याओं में बढ़ोतरी हो सकती है, जिसके चलते कोविड-19 के हालात और बिगड़ने की संभवाना को बल मिलेंगा। क्योंकि कोरोना वायरस श्वसन प्रणाली को प्रभावित करता है। उन्होंने निर्देश दिए कि गन्ने की पाती व धान की पराली जलाने से रोकने का पर्याप्त प्रयास किया जाये। इससे संबंधित कोई भी घटना घटेगी तो संबंधित के प्रति उचित वैधानिक कार्यवाही की जाये। किसी प्रकार की कोई लापरवाही क्षम्य नही होगी। उन्होंने कहा कि पराली जलाने वालों की सैटेलाइट द्वारा निगरानी होगी। उन्होने कहा लेखपाल अपने भ्रमण के समय किसानों को पराली से होने वाले नुकसान के बारे में जरूर बताएं।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डाॅ0 एस0चेनप्पा ने सभी थानाध्यक्षों को निर्देश दिए है कि वे अपने क्षत्र में यह सुनिश्चित करें कि पराली जलाने वालों के विरूद्ध कार्यवाही की जायेगी। उन्होंने कहा कि इस सम्बन्ध में लोगों को यह भी बताना जरूरी है कि रात में पराली में आग न लगाई जाये। पराली के जहरीला धुंआ मानव जीवन के लिए घातक है।
अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व विनोद कुमार ने कहा कि समिति के माध्यम से जितना ज्यादा जलसा व संवाद करेंगे उतनी प्रगति होगी। उन्होंने कहा कि जनपद में ब्लाक स्तर पर कार्यशाला आयोजित कर किसानों को जागरूक किया जा रहा है।
उप कृषि निदेशक राम जतन मिश्र ने कहा कि पराली प्रबन्धन के विषय में कृषकों को जागरूक करने हेतु क्षेत्रीय कार्यकत्र्ताओं के माध्यम से कृषक को जागरूक किया जा रहा है। और अग्रणी कृषकों के माध्यम से भी जागरूक किया जा रहा है। कृषि विज्ञान केन्द्र द्वारा सामुदायिक रेडियो केन्द्र से कृषकों केा जागरूक किया जायेगा। ग्राम पंचायतों में मुनादी करायी जा रही है। और वाल पेन्टिंग करायी जा रही है। आॅनलाइन क्लासों में शिक्षा विभाग द्वारा पराली के संबंध में विद्यार्थियों को अवगत कराया जा रहा है।
बैठक में एसपी टैªफिक प्रेमचन्द, एसडीएम सदर अनिल कुमार सिंह, एसडीएम नकुड हिमांशु नागपाल, जिला विकास अधिकारी मंशाराम यादव, परियोजना निदेशक दुष्यन्त कुमार सिंह, ज्येष्ठ गन्ना विकास निरीक्षक इन्द्रजीत सिंह यादव, जिला विद्यालय निरीक्षक अरूण कुमार दुबे तथा विभागीय अधिकारीगण मौजूद रहे।