बीजेपी का असली बिहार प्लान,जानिए
बीजेपी ने बिहार में जेडीयू से बड़ी पार्टी होने के बाद भी मुख्यमंत्री की कुर्सी नीतीश कुमार को सौंप दी है, लेकिन उत्तर प्रदेश की तर्ज पर बिहार में अपने दो डिप्टी सीएम बनाने में सफल रही है. नीतीश के अलावा कुल 14 मंत्रियों ने सोमवार को शपथ ली है, जिसमें बीजेपी कोटे से सबसे ज्यादा सात मंत्री बनाए गए हैं. मंत्रिमंडल के जरिए बीजेपी ने बिहार में अपने सियासी भविष्य को मजबूत करने और बिना बैसाखी के 2025 की जंग को फतह करने की दिशा में आगे बढ़ने की कोशिश की है. ऐसे में क्षेत्रीय और सामाजिक समीकरण साधने के लिए पुराने और जमीन से जुड़े नेताओं को कैबिनेट में खास अहमियत दी गई.
बिहार में नंबर वन की पार्टी बनने की कवायद
राजनीतिक जानकारों की मानें तो बीजेपी काफी लंबे समय से बिहार में अपने दम पर पार्टी को उठाना चाहती है. ऐसे में नीतीश कुमार की लंबी छत्रछाया के आगे निकलकर और उनके करीबी सुशील मोदी को डिप्टी सीएम पद न देकर स्थानीय नेताओं को इस बार तरजीह दी है, जिसे पार्टी को अपने दम पर मजबूत करने की कोशिश की रणनीति के तौर पर देखा जा रहा है. ऐसे में बीजेपी ने डिप्टी सीएम की एक कुर्सी पर वैश्य समुदाय से आने वाले तारकिशोर प्रसाद को बैठाया तो और दूसरी कुर्सी अतिपिछड़ा समाज से आने वाली रेणु देवी को सौंपी है.
बिहार में बीजेपी के भविष्य की रणनीति
वरिष्ठ पत्रकार आशुतोष ने कहा कि बीजेपी बिहार में 15 साल तक छोटे भाई की भूमिका में रह चुकी है और अब आगे भविष्य में अपने दम पर सत्ता में आने की राह बना रही है. ऐसे में नीतीश कैबिनेट में जिस तरह से सुशील मोदी को हटाकर बीजेपी ने दो नए चेहरों को डिप्टी सीएम बनाया है, उससे साफ जाहिर है कि पार्टी अपनी एक नई लीडरशिप बिहार में खड़ा करना चाहती है. डिप्टी सीएम की कुर्सी पर ऐसे दोनों नेताओं को बैठाया गया है, जो नीतीश कुमार की हां-हुजूरी करने के बजाय बिहार में बीजेपी के भविष्य की राजनीति को मजबूत कर सकें वो कहते हैं कि बिहार के 2025 के चुनाव में बीजेपी अपनी सियासी ताकत को इतना कर लेना चाहती है
कि उसे नीतीश कुमार के चेहरे के सहारे चुनावी मैदान में न उतरना पड़े. बीजेपी ने नीतीश कुमार को सीएम भले ही बना दिया हो, लेकिन अब उन्हें पहले जैसी आजादी नहीं होगी बल्कि बीजेपी का पूरी तरह से दखल होगा. बिहार में बीजेपी विधायकों की संख्या जिस तरह से है, उसके अनुसार उसे अपना सियासी कद बढ़ाने का अच्छा खासा मौका मिल गया है. नीतीश सरकार में बीजेपी का पूरा दखल होगा और अपने एजेंडो को लागू कराने से पीछे नहीं हटेगी.
वहीं, बीजेपी के प्रवक्ता और राज्यसभा सदस्य सैय्यद जफर इस्लाम कहते हैं कि बीजेपी ने नए लोगों को मौका दिया है. हर पार्टी अपना विस्तार करना चाहती है, ऐसे में बीजेपी भी अपना विस्तार करना क्यों नहीं चाहेगी. बिहार नहीं बल्कि हम देश भर में जमीनी स्तर पर काम करते हैं और जमीन से जुड़े नेताओं-कार्यकर्ताओं को सरकार और संगठन में जगह देते हैं. बीजेपी की हमेशा कोशिश होती है कि यंग ब्लड को आगे लाना चाहिए. बिहार में एक मजबूत सरकार देंगे तभी हमारी पार्टी भी मजबूत हो सकेगी.